मारुति सुजुकी मानेसर के जुझारु मजदूरों का संघर्ष विगत 25 दिनों से जारी है। लेकिन अभी गतिरोध के समाधान का कोई संकेत नहीं मिल रहा है। पिछले 25 दिनों से धरने पर बैठे मजदूरों में से कुछ ने हमें यह संकेत दिया है कि कंपनी शायद अगले दो दिनों में इस मामले को सुलझाने के लिए फिर से बातचीत की पहल करे। मजदूर चाहते हैं कि वार्ता शुरू हो और उनको विभिन्न वामपंथी और क्रांतिकारी संगठनों, छात्रों, बुद्धिजीवियों सहित समाज के अन्य तबकों का जो समर्थन मिल रहा है उसके मद्देनजर मारुति सुजुकी इंडिया लिमिटेड के प्रबंधन पर वार्ता शुरू करने का दबाव बढ़ता जा रहा है।
बृहस्पतिवार 22 अगस्त को दिल्ली में दो जगहों पर मारुति सुजुकी के मजदूरों के साथ एकजुटता का इजहार करने के लिए दो छोटे किंतु जोरदार प्रदर्शन हुए। इसके अलावा उनके समर्थन में गुडग़ांव में एक सम्मेलन हुआ तथा बुधवार यानी 21 अगस्त को कोलकाता के मारुति सुजुकी इंडिया लिमिटेड के क्षेत्रीय कार्यालय के सामने भी कई स्थानीय ट्रेड यूनियनों ने मिलकर प्रदर्शन किया। यही नहीं जापान की राजधानी टोकियो स्थित मारुति मोटर मोटर कारपोरेशन के मुख्यालय के सामने भी एक जोरदार प्रदर्शन करते हुए इस बुहराष्ट्रीय कंपनी से भारत में अपने मजदूर विरोधी कारगुजारियों को तुरंत रोकने और मारुति सुजुकी, मानेसर के माजदूरों की जायज मांगों को तत्काल स्वीकार करने की मांग की गई।
मारुति सुजुकी के मजदूरों के संघर्ष के समर्थन में कल दिल्ली में दो जगहों पर प्रदर्शन हुए। विभिन्न वामपन्थी और क्रान्तिकारी संगठनों और ट्रेड यूनियनों ने संयुक्त रूप से हरियाणा भवन पर एक जोरदार प्रदर्शन किया. वहाँ हुई सभा में वक्ताओं ने मारुति-सुजुकी इण्डिया लिमिटेड प्रबन्धन के दमनकारी और मजदूर विरोधी तौर तरीकों की कड़ी आलोचना की और इस मामले में केन्द्र और हरियाणा सरकार के रवैये की भी कड़े शब्दों में भर्सना की। अपराह्न बारह बजे से आरम्भ होकर सभा करीब तीन बजे तक जारी रही। सभा में हरियाणा सरकार से मारुति सुजुकी के मैनेजमेंट के अड़ियल रवैये के चलते जारी गतिरोध को तुरन्त सुलझाने की माँग की गयी और इस सम्बन्ध में अधिकारीयों को ज्ञापन दिया गया। इस प्रदर्शन में क्रांतिकारी युवा संगठन, आल इंडिया ट्रेडयूनियन्स फेडरेशन, इंकलाबी मजदूर केंद्र, मजदूर एकता केंद्र, क्रांतिकारी नौजवान सभा, मजदूर एकता कमेटी, यूथ फार सोशल जस्टिस आदि दिल्ली के ढेरो छोटे बड़े संगठनों के प्रतिनिधि शामिल थे।
मारुति सुजुकी के संघर्ष के समर्थन में एक ट्रेड यूनियन संगठन, न्यू ट्रेड यूनयिन इनशिएटिव, की ओर से दूसरा प्रदर्शन तीस हजारी मेट्रो स्टेशन के सामने हुआ। ये दोनों प्रदर्शन अपेक्षाकृत छोटे ही थे लेकिन इन्होने इस आन्दोलन को विभिन्न संगठनों और समाज के विभिन्न हिस्सों से प्राप्त हो रहे समर्थन को अभव्यिक्ति प्रदान की।